देश में शिक्षा नीति में 34 वर्षो बाद नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) पेश की गयी तथा शिक्षा के स्तर में व्यापक सुधार की अगुवाई करने का यह कार्य केंद्र सरकार (Central Government) के एमएचआरडी मंत्रालय द्वारा किया गया है | इसके साथ ही अब मानव संसाधन विकास मंत्रालय (MHRD) का नाम बदलकर शिक्षा मंत्रालय करने का फैसला लिया गया है | यह नीति ई कंसेप्ट (E Learning Concepts) पर ज्यादा ध्यान देंगी जिसके तहत समस्त पाठ्यक्रम क्षेत्रीय भाषा पर भी उपलब्ध होंगे |
भारत के लिए यह एक महत्वपूर्ण कदम शिक्षा के क्षेत्र में व्यापक बदलाव कर सकता है तथा भारत को विश्व गुरु बनाने में सक्षम भी होगा | यह नीति देश व नागरिक के हितो को ध्यान में रखकर बनाई गयी है जिसमे विदेश संस्थाओ द्वारा भी भारत में अपने कैंपस खोले जा सकते है | इससे शिक्षा के क्षेत्र में प्रतियोगिता का स्वरुप बदल जाएगा और शिक्षा की गुणवत्ता में काफी अच्छा बदलाव लाया जा सकेगा |
हमारे प्रिय पाठको को आज नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) के बारे में सब जानकारी प्राप्त होगी, कृप्या पूरा आर्टिकल ध्यान से व पूरा पढ़े:-
नई शिक्षा नीति (NEP) क्या है (New Education Policy in Hindi)
देश की शिक्षा नीति में व्यापक सकारात्मक बदलाव हेतु भारत सरकार ने कैबिनेट में एक नई शिक्षा नीति को पारित किया है | इसकी घोषणा देश के एमएचआरडी मंत्रालय द्वारा New Education Policy (NEP), 2019 के रूप में की गयी और देश के उज्ज्वल भविष्य हेतु इसका निर्माण व लागू दोनों ही बहुत महत्वपूर्ण है | आगे हम इसकी मुख्य बिंदु, विशेष प्रावधान और सभी के बारे में चर्चा करेंगे |
नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) के मुख्य बिंदु (Key Highlights)
- नई शिक्षा नीति के अनुसार शिक्षा का अधिकार (Right to Education) कानून में बदलाव किया जाएगा और 3 साल से 18 वर्ष के बच्चों को शिक्षा का अधिकार कानून, 2009 के द्वारा इसका लाभ दिया जाएगा |
- कला, संगीत, शिल्प, खेल, योग, सामुदायिक सेवा जैसे विषयों को सहायक पाठ्यक्रम (co-curricular) या अतिरिक्त पाठ्यक्रम ( extra- curricular) न कहकर, सीधा पाठ्यक्रम में शामिल किया जाएगा |
- ई-पाठ्यक्रमो का निर्माण क्षेत्रीय भाषाओं में भी किया जाएगा |
- पूरेदेश में उच्च शिक्षा (Higher Education Institution (HEI)) हेतु एक ही नियामक (Regulator) होगा, जिसके अंतर्गत अप्रूवल और वित्त के लिए अलग-अलग वर्टिकल होंगे। यह नियामक ‘ऑनलाइन सेल्फ डिसक्लोजर बेस्ड ट्रांसपेरेंट सिस्टम’ पर काम करेगा।
- मानव संसाधन विकास मंत्रालय (MHRD) का नाम बदलकर शिक्षा मंत्रालय (Ministry of Education) किया जाएगा।
- मल्टिपल एंट्री, एग्ज़िट सिस्टम में पहले साल के बाद सर्टिफिकेट (Certificate), दूसरे साल के बाद डिप्लोमा (Diploma) और तीन-चार साल बाद डिग्री (Degree) देने का प्रावधान किया जाएगा |
- स्कूली शिक्षा, उच्च शिक्षा के साथ कृषि शिक्षा, कानूनी शिक्षा, चिकित्सा शिक्षा और तकनीकी शिक्षा सभी को नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अंतर्गत लाया जाएगा |
- शिक्षकों के प्रशिक्षण के द्वारा शिक्षको में व्यापक सुधार किया जाएगा |
- 4 साल डिग्री प्रोग्राम फिर M.A. और उसके बाद बिना M.Phil के सीधा PhD में एडमिशन लेने का प्रावधान किया जाएगा |
- सरकार ने शिक्षा के बजट (Budget) में इजाफा करते हुए इसे 6% करने का फैसला किया है जो अभी तक 4.43% है |
- पहली से पाँचवी कक्षा (Primary Education) तक जहाँ तक संभव हो मातृभाषा में शिक्षा दी जायेगी |
- कस्तूरबा गाँधी बालिका विद्यालय का विस्तार 12वीं तक करने का सुझाव नई शिक्षा नीति-2019 करने पर भी स्थिति के अनुसार फैसला लिया जाएगा |
- नई शिक्षा नीति-2019 में तकनीकी के इस्तेमाल के रूप में शिक्षा को अत्यंत रोचक और आनंदायी बनाने का सुझाव भी दिया गया है |
- अमेरिका की NSF (नेशनल साइंस फाउंडेशन) की तर्ज पर NRF (नेशनल रिसर्च फाउंडेशन) का निर्माण किया जाएगा |
- बच्चों के रिपोर्ट कार्ड में लाइफ स्किल्स को जोड़ा जाएगा, इससे पहले यह नहीं किया जाता था |
- राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (NTA) द्वारा उच्च शिक्षा संस्थानों में प्रवेश के लिए कॉमन एंट्रेंस परीक्षा के माध्यम से भी किया जा सकता है लेकिन यह संस्थान के लिए अनिवार्य नहीं होगा |
- शिक्षा के क्षेत्र में मनमानी व अन्य दिक्कतों के लिए ‘राष्ट्रीय शिक्षा आयोग’ का गठन करने और प्राइवेट स्कूलों को मनमाने तरीके से फीस बढ़ाने पर लगाम लगाने पर भी कार्य किया जाएगा |
हमे उम्मीद है कि नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति, 2019 (NEP) के बारे में अब आपको काफी कुछ मालूम हो गया होगा, यदि हमारा यह लेख अच्छा लगे तो कृप्या आगे शेयर जरूर करे |
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