ग्रामीण क्षेत्रो में महिलाओं की डिलीवरी करानें के साथ ही बच्चों का टीकाकरण (Vaccination) कराना, किशोरियों के साथ स्वच्छता की बैठक करना तथा बच्चे के जन्म के बाद उनके घर जाकर 42 दिनों तक उनकी देखभाल करनें का कार्य आशा कार्यकर्ता द्वारा किया जाता है | आशा कार्यकर्ता को विभिन्न राज्यों में अलग-अलग नाम जैसे आशा कार्यकर्ता (Asha Worker), आशा बहू (Asha Bahu) या आशा बहन आदि नामों से जाना जाता है |
कुल मिलाकर एक आशा कार्यकर्ता का मुख्य कार्य लोगो को स्वास्थ्य सेवाये उपलब्ध कराना है | आशा कार्यकर्ता का चयन राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत डूडा के अंतर्गत आने वाले ग्रामीण और शहरी क्षेत्रो में किया जाता है | आशा कार्यकर्ता (बहु/संगनी) कैसे बने, वेतन (मानदेय), ASHA का फुल फॉर्म के बारे में आपको यहाँ पूरी जानकारी दे रहे है |
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आशा का फुल फार्म (ASHA Full Form)
ASHA (आशा) का फुल फार्म ‘Accredited Social Health Activist’ (एक्रीडेटेड सोशल हेल्थ एक्टिविस्ट) होता है और हिंदी में इन्हें ‘मान्यता प्राप्त सामाजिक स्वास्थ्य कार्यकर्ता’ कहते है | आशा कार्यकर्त्ता का पद केंद्र और राज्य सरकारों के स्वास्थ्य विभाग के जिला स्वास्थ्य कार्यालयों में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (NHM) कार्यक्रम के अंतर्गत ग्रामीण स्तर पर होता है |
ASHA Full Form In English | Accredited Social Health Activist |
आशा का फुल फार्म इन हिंदी | मान्यता प्राप्त सामाजिक स्वास्थ्य कार्यकर्ता |
आशा कार्यकर्ता क्या है ?
एक आशा कार्यकर्त्ता का पद देश के लगभग सभी राज्यों में अस्थायी आधार पर होता है | इनका मुख्य कार्य एनएचएम (राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन) के अंतर्गत दी जानें वाली स्वास्थ्य सेवाओं को ग्रामीण क्षेत्रो में ऐसे लोगो तक पहुचाना है, जिन्हें जानकारी और जागरूकता के आभाव में इन सुविधाओं का लाभ नहीं मिल पाता है | एक आशा बहु ग्रामीण एवं दूरस्थ क्षेत्रों की महिलाओं और नवजात बच्चों को स्वास्थ्य से सम्बंधित सुविधाएं पहुंचाने के साथ-साथ जागरूकता फैलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है |
गर्भावस्था के दौरान महिलाओं की देखभाल करना तथा उनकी सुरक्षित डिलेवरी के साथ-साथ आपात स्थिति में उन्हें जिले स्तर पर सरकारी चिकित्सालय में एडमिट कराना इनका मुख्य कार्य होता है | आशा बहु को एक हेल्थ एक्टिविस्ट के रूप में कार्य करना होता है |
आशा कार्यकर्ता कैसे बनें (How To Become ASHA Worker)
एक आशा कार्यकर्ता या आशा बहु को जिले के मुख्य चिकित्सा अधिकारी (CMO) द्वारा राष्ट्रीय शहरी स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत डिस्ट्रिक्ट अर्बन डेवलपमेंट एजेंसी (DUDA) के तहत आने वाली मलिन बस्तियों और ग्रामीण क्षेत्रों में आशा बहु की नियुक्ति की जाती है | यदि हम उत्तर प्रदेश की बात करे, तो वर्तमान समय में प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में लगभग 1.5 लाख से अधिक आशा बहु स्वास्थ्य विभाग में कार्यरत हैं। आशा बहु की नियुक्ति ग्रामीण क्षेत्रों के साथ-साथ शहरी क्षत्रों में भी की जाती है |
आशा कार्यकर्ता बनने हेतु योग्यता (Eligibility For ASHA Worker)
- एक आशा कार्यकर्त्ता के पद पर कार्य करनें के लिए महिलाओं की आयु 20 से 45 वर्ष होना आवश्यक है |
- ग्रामीण क्षेत्रो में आशा कार्यकर्त्ता बननें हेतु शैक्षिक योग्यता 8वीं और शहरी क्षेत्रो में 10वीं पास होना आवश्यक है |
- एक आशा कार्यकर्ता बनने के लिए आवेदक द्वारा जिस ग्राम सभा से आवेदन किया जा रहा है, उस महिला को उसी गाँव की निवासी या बहु, बेटी होना आवश्यक है |
- आवेदक को मानसिक रूप से पूर्णतया स्वस्थ होना आवश्यक है |
आशा कार्यकर्ता की चयन प्रक्रिया (ASHA Worker Selection Process)
आशा कार्यकर्ता बनने हेतु पात्रता पूरी करने वाली महिलाओं को चयन हेतु बुलाया जाता है। एक आशा बहु का चयन ग्राम सभा या निकाय क्षेत्र में वार्ड के प्रस्ताव के आधार पर किया जाता है | इसके लिए खुली बैठक का आयोजन किया जाता है, जिसमें प्रस्ताव के बाद चयनित आशाओं का इंटरव्यू ब्लाक स्तर पर सीएमओ (CMO) और एएनएम (ANM) की उपस्थिति में होता है |
जबकि नगरीय आशा कार्यकर्ता का चयन राज्य सरकार द्वारा निर्धारित दिशा-निर्देशों के आधार पर उच्च शैक्षिक योग्यता और कार्य अनुभव के आधार पर होता है। ऐसी महिलाये जो साक्षात्कार में सरकार द्वारा निर्धारित अंको के आधार पर सबसे अधिक अंक प्राप्त करती है, उन्हें आशा कार्यकर्ता के रूप में नियुक्त किया जाता है | आशा बहु के चयन में पति से अलग हुई महिलाओं, विवाहित, तलाकशुदा और विधवा आदि को चयन में प्राथमिकता दी जाती है |
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जनसँख्या के आधार पर आशा बहु की संख्या (Number Of ASHA Workers Based On Population)
दरअसल, आशा कार्यकर्ता की नियुक्ति उस गाँव या क्षेत्र की जनसँख्या के अधर पर किया जाता है | राज्य सरकार द्वारा जारी निर्देशानुसार 200 से 500 घरों के बीच 1 आशा बहु, 501 से 1000 घरों के बीच 2, और 1001 से 1500 घरों के बीच 3 और 1501 से 2000 घरों के बीच 4 आशा कार्यकर्ताओं की नियुक्ति की जाती है | यही नियम शहरी क्षेत्रों में लागू होता है |
आशा कार्यकर्ता/बहु का वेतन 2023
एक आशा कार्यकर्ता या बहु को दिए जाने वाला वेतन या मानदेय इस प्रकार है-
डिलेवरी से पहले और बाद में स्वास्थ्य सेवाएं देने पर | 600 रुपए |
टीकाकरण सत्र पूरा करने पर | 150 रुपए |
सभी तरह के टीके लगवाने पर | 50 रुपए |
बैठक में शामिल होनें पर | 100 रुपए (प्रति बैठक) |
टीवी रोगी को दवा दिलाने पर | 1000 रुपये |
कुष्ठ रोगी को दवा दिलाने पर | 500 रुपए |
नया कुष्ठ रोगी खोजने पर | 200 रुपए |
जन्म मृत्यु दर पंजीकरण कराने पर | 25 रुपए |
ग्राम्य स्वास्थ्य सूचांक रजिस्टर बनाने पर | 750 रुपए |
इस प्रकार कुल मिलाकर एक आशा कार्यकर्त्ता को प्रति माह 10 हजार वेतन या फिर मानदेय के रूप में प्राप्त होते है | इसके साथ ही उन्हें नियमित गतिविधियों के लिए प्रोत्साहन के रूप में 1000 रुपये प्रति माह प्राप्त होते है, जो कि वर्ष 2018 से प्रभावी है |
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