दोस्तों बरसात का मौसम आ चुका है और इस मौसम में जब-तब बादल बरसने लगते हैं, पता ही नहीं चलता। बारिश यूं तो मन को लुभाती है और बेहद अच्छी भी लगती है लेकिन क्या आप जानते हैं की नमी वाला मौसम कीटाणुओं के लिए आदर्श प्रजनन स्थल बनाता है। इस्लिए मानसून के दौरान बीमारी से बचने के लिए आप अपनी इम्यूनिटी को मजबूत बनाना चाहते हैं, तो हमारा यह आर्टिकल आपके लिए ख़ास होने वाला हैं, क्योकि आज हम आपको अपने इस आर्टिकल में मानसून में इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए कुछ टिप्स देने वाले हैं। इसकी सभी जानकारी को प्राप्त करने के लिए आप हमारे इस आर्टिकल को अंत तक अवश्य पढ़ें।
मानसून में इम्यूनिटी कैसे बढ़ाएं?
बारिश के मौसम में इम्यूनिटी को मजबूत बनाने और पाचन क्रिया को दुरुस्त बनाने का सबसे अच्छा तरीका है कि दूध में कुछ मसाले डालकर उबालना और इसका सेवन करना। आयुर्वेद के अनुसार,मानसून के महीने में हमारी प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो जाती हैं। जिसके चलते तीन दोष (वात, पित्त और कफ) असंतुलित हो जाते हैं। मानव शरीर में पाचन का प्रतिनिधित्व करने वाला कफ मुख्य रूप से प्रभावित होता है, और इसलिए हम संक्रमण और भोजन से संबंधित बीमारियों के प्रति अधिक संवेदनशील होते हैं। रोग प्रतिरोधक क्षमता का मजबूत होना बहुत जरूरी है, खास करके मानसून में जब बीमारियां आसानी से आपको अपनी चपेट में ले लेती है। दरअसल यह मौसम बैक्टीरिया और वायरस के पनपने के लिए बहुत ही अनुकूल होता है और अगर आपकी इम्यूनिटी खराब होती है तो आप डेंगू मलेरिया, इन्फ्लूएंजा वगैरह की चपेट में आ सकते हैं। ऐसे में आप इम्युनिटी बढ़ाने के लिए बेसन वाला दूध पी सकते हैं।
मानसून में दूध कैसे पीना चाहिए?
अक्सर यह देखने को मिलता है कि कुछ लोग कच्चा दूध पीते हैं। लेकिन यह आपकी सेहत के लिए नुकसानदायक हो सकता है। क्योंकि यह आपके पाचन को प्रभावित कर सकता है। इसलिए, हमेशा दूध को उबालकर ही पिएं। साथ ही, कई बार लोग दूध के साथ नमकीन फूड्स का सेवन या भोजन के बाद दूध का सेवन करते हैं, जिसके कारण अपच, पेट में गैस, एसिडिटी और कई अन्य स्वास्थ्य समस्याएं देखने को मिल सकती हैं। फलों के साथ दूध का सेवन करना भी हमारे डाइजेशन को नुकसान पहुंचा सकता है। ऐसे में बेहतर है कि आप दूध को कभी भी फलों के साथ न लें।” सिर्फ बारिश के मौसम में ही नहीं, आपको हर मौसम में दूध का सेवन करते समय इन बातों का ध्यान जरूर रखना चाहिए। इसके अलावादूध में हल्दी, दालचीनी, अदरक या इलायची उबालकर पीने से दूध के गुण और भी अधिक बढ़ जाते हैं। साथ ही, दूध पीने में भी बहुत स्वादिष्ट लगता है।
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गरम दूध पीने के फायदे
- मानसून में हमेशा गर्म दूध पिएं। यह पाचन में सहायता करता है, पोषक तत्वों के अवशोषण में सुधार करता है और शरीर के समग्र स्वास्थ्य में सहायता करता है।
- जब आप दूध में चौथाई मात्रा में पानी डालकर उबालते हैं, तो यह दूध को ताकत और पोषण देने के साथ कई विकारों को दूर करने का काम करता है।
- आप दूध में इलायची, दालचीनी, हल्दी और अदरक जैसे आयुर्वेदिक मसाले मिलाकर इसके पाचन गुणों को बढ़ा सकते हैं।
- साथ ही इसे पीने से आपकी इम्यूनिटी में इजाफा होगा, और बारिश में होने वाली कई बीमारियों से बचे रह सकते हैं।
- दूध की पूरी ताकत लेने के लिए इसे ब्रेकफास्ट में पिएं।
बचाव
- बिना उबला हुआ दूध
- दूध में नमक मिला हुआ
- दूध में कॉर्न फ्लेक्स या सीरियल मिला हुआ
- दूध के साथ फल
- गर्म समोसे और पकौड़े भले ही कितने भी ललचाएँ, आपको इस मौसम में स्ट्रीट फ़ूड से दूर रहना चाहिए।
- जंक फ़ूड, साथ ही स्ट्रीट-फ़ूड विक्रेताओं द्वारा बेचे जाने वाले फलों के स्लाइस और फलों के जूस से बचें।
- नमी वाले मौसम के कारण, सूक्ष्मजीव अधिक सक्रिय हो जाते हैं और खुले में रखे खाद्य पदार्थों या पेय पदार्थों को संक्रमित कर सकते हैं। इसलिए इससे बचे।
- फलों और सब्ज़ियों के छिलके पर कोई गंदगी या कीटाणु न चिपके, यह सुनिश्चित करने के लिए उन्हें साफ, बहते पानी में दो-तीन बार धोएँ।
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स्वच्छता का ध्यान रखें
जब भी आप बाहर से वापस आये तो हमेशा अपने हाथ-पैर धोएं। अगर संभव हो तो गुनगुने पानी से नहाएँ और नहाने के पानी में कीटाणुनाशक मिलाएँ। साथ ही जब आप कपड़े धोये तो उसमें भी कीटाणुनाशक मिलाएं। जिससे आप संक्रमण से बच पायेगें। इस बात का भी ध्यान रखें की गीले कपड़े न पहने। क्योंकि गीले कपड़े और तौलिये बैक्टीरिया के पनपने का आधार होते हैं।
मानसून में गुनगुना पानी पिएं
जैसा की हम सभी जानते हैं की पानी हमारे शरीर के लिए कितना जरूरी हैं इसलिए हर मौसम में पानी पीना चाहिए। मानसून के मौसम में संक्रमण की संभावना ज़्यादा होती है, इसलिए आपको केवल फ़िल्टर किया हुआ पानी पीना चाहिए या अपने पीने के पानी को उबालकर पीना चाहिए। दिन भर में मध्यम मात्रा में गुनगुना पानी पीने से आपके शरीर से विषाक्त पदार्थ बाहर निकल जाएँगे और संक्रमण का जोखिम कम हो जाएगा।
अपने आहार में प्रोबायोटिक्स शामिल करें
अक्सर मानसून के दौरान लोगों को पेट के संक्रमण का खतरा दिखाई देता हैं। इससे बचने के लिए अपने पेट को स्वस्थ रखना जरूरी हैं। इसलिए आप अपने आहार में प्रोबायोटिक्स शामिल करें। घर का बना दही और छाछ बेहतरीन प्रोबायोटिक्स हैं क्योंकि वे अच्छे बैक्टीरिया को बढ़ावा देते हैं, जिससे सिस्टम हानिकारक बैक्टीरिया संक्रमण से लड़ने में सक्षम होता है। आयुर्वेदिक पंचकर्म उपचार से अपने सिस्टम को डिटॉक्सीफाई करना भी आपके लिए फायदेमंद हो सकता है। इसके आलावा आपको अपनी रोग प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करने के लिए मौसमी फल और सब्ज़ियाँ खानी चाहिए। पोषक तत्वों से भरपूर मौसमी ताज़ी सब्ज़ियाँ खरीदें जो आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करती हैं। खाने या पकाने से पहले फलों और सब्ज़ियों को अच्छी तरह से साफ करना सुनिश्चित करें। फलों और सब्ज़ियों के छिलके पर कोई गंदगी या कीटाणु न चिपके, यह सुनिश्चित करने के लिए उन्हें साफ, बहते पानी में दो-तीन बार धोएँ।
मानसून के मौसम में आपके आहार में शामिल करने के कुछ अहम बिंदु
- अनाज: चावल, गेहूं और ज्वार
- सब्जियां: लौकी, लौकी और भिंडी
- फलियां: अरहर दाल, मूंग, काला मूंग
- रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाले: लहसुन, प्याज, अदरक
- फल: जामुन, नारियल
- गर्म चाय की चुस्की लेते हुए बारिश का मज़ा लें, लेकिन हर्बल चाय ही चुनें। दूध वाली चाय की जगह अदरक और तुलसी जैसी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाली सामग्री से बनी सेहतमंद चाय बनाएँ ।
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FAQ’s
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पाचन संबंधी समस्या
यह ज्यादातर प्राकृतिक हत्यारा कोशिकाओं और फागोसाइट्स (“खाने वाली कोशिकाओं”) जैसी प्रतिरक्षा कोशिकाओं का उपयोग करके लड़ती है। जन्मजात प्रतिरक्षा प्रणाली का मुख्य काम हानिकारक पदार्थों और कीटाणुओं से लड़ना है जो शरीर में प्रवेश करते हैं, उदाहरण के लिए त्वचा या पाचन तंत्र के माध्यम से।
अगर आप चाहते हैं कि आपका इम्यून सिस्टम सही रहे तो इसके लिए अनार सबसे बेस्ट रहेगा. क्योंकि इसमें कई सारे विटामिन्स, आयरन, पोटेशियम और एंटीऑक्सिडेंट्स पाए जाते हैं जो इम्यून सिस्टम को मजबूत रखते हैं।
जी हाँ हर सुबह अदरक का एक गिलास पीने से रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है और ऊर्जा का स्तर बढ़ता है।
इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए आप अंगूर का सेवन भी कर सकते हैं। क्योकि अंगूर विटामिन, मिनरल्स और एंटीऑक्सीडेंट का स्रोत माना जाता है। इसके अलावा, अंगूर पानी से भरा फल है। इसलिए, इसके सेवन से शरीर में पानी की कमी नहीं होती है, बॉडी हाइड्रेट रहता है।
प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ावा देने के लिए अच्छे खाद्य पदार्थों में खट्टे फल, पालक, बादाम, पपीता और हरी चाय शामिल हैं।